– अनिल शर्मा*
जालौन: जालौन से चोरी हुई ढाई करोड की अष्टधातु की मूर्तियों को बरामद कर पुलिस ने एक महिला सहित चार अंतर्जनपदीय चोरों को गिरफ्तार किया है। जालौन के पुलिस अधीक्षक रवी कुमार ने अष्टधातु की मूर्ति की चोरी का खुलासा करते हुए बताया कि बीती 29 दिसंबर 2022 की रात को अज्ञात चोरों ने ग्राम मरगाया स्थित मंदिर से राम जानकी की अष्टधातु की मूर्तियों को चोरी कर लिया था।इस चोरी के बारे में भेड़ी खुर्द थाना कदौरा में गोविंद सिंह ने तहरीर देकर बताया था। है। इस पर पुलिस ने चोरों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया था।
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इस संबंध में पुलिस अधीक्षक ने अपर पुलिस अधीक्षक असीम चौधरी और क्षेत्राधिकारी कालपी के नेतृत्व में कदौरा थाना पुलिस एवं एसओजी व सर्विलांस सेल की संयुक्त टीम को लगाया था। जिसके चलते टीम ने साक्ष्यों को एकत्र कर मुखबिर की सूचना पर कानपुर नगर के थाना क्षेत्र सांड ग्राम चिरली के पास से आज अभियुक्त स्वतंत्र प्रताप सिंह उर्फ राजा, निवासी चिरली थाना सांड जनपद कानपुर नगर, शशांक ठाकुर, निवासी ग्राम मलासा थाना भोग नही पुर जनपद कानपुर देहात, लक्ष्मी, निवासी नरवल थाना, नरवर, जनपद कानपुर नगर, और सोम चंद्र जायसवाल, निवासी 108 गोपाल नगर विद्युन, जनपद कानपुर नगर, को गिरफ्तार कर लिया।
जब उनकी तलाशी ली तो उनके पास से एक कटी हुई लक्ष्मण जी की मूर्ति, एक मूर्ति रांगा की कटी हुई, तीन मोबाइल फोन और एक मोटरसाइकिल बरामद हुई ।अभियुक्तों को चोरी की शत-प्रतिशत माल के साथ गिरफ्तार कर लिया गया।
जब पुलिस ने चोरों से पूछताछ की तो उन्होंने बताया कि वह लोग मरगाया मंदिर में आए थे तो पता चला कि मंदिर में जो मूर्तियां स्थापित हैं उनकी कीमत करोड़ों में है। फिर वह लोग मंदिर में बाबा जी से मिले एवं मंदिर की भूमि को बल कट पर लेने की बात करके वहां रुक गए। रात में मौका पाकर उक्त लोगों ने मंदिर का ताला तोड़ा और मूर्ति चुराकर मोटरसाइकिल से भाग गए।
चोरों ने मूर्तियों के अंदर हीरे जवाहरात होने की बात पर दो मूर्तियों को काटकर देखा, लेकिन उसमें से कुछ नहीं निकला। इसके बाद उन मूर्तियों को पांडु नदी में फेंक दिया।
पुलिस ने अभियुक्तों को न्यायालय में पेश करने के बाद जेल भेज दिया है।
पुलिस ने बताया पकड़े गए अभियुक्त स्वतंत्र और लक्ष्मी के ऊपर कानपुर देहात में 3 मामले दर्ज हैं। गिरफ्तार करने वाली टीम में कदौरा थाना अध्यक्ष उमाकांत ओझा, सर्विलांस सेल प्रभारी योगेश पाठक, उपनिरीक्षक रामचंद्र, हेड कांस्टेबल गौरव बाजपेई आदि शामिल रहे। मालूम हो कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में इन अष्टधातु की मूर्तियों की कीमत ढाई करोड़ से अधिक बताई जा रही थी
*वरिष्ठ पत्रकार