उरई (जालौन): भारतीय जन मानस में प्रेम, भाईचारा एवं सामाजिक सद्भाव बढ़ाने के उद्देश्य से उत्तर प्रदेश इप्टा की अगुवाई में ढाई आखर प्रेम संस्कृतिक यात्रा की शुरुआत बुंदेलखंड के जनपद जालौन स्थित 1857 के प्रथम स्वतंत्रता संग्राम के महान नायक क्रांतिकारी तात्या टोपे की कर्म स्थली ग्राम चुरखी से आज प्रारंभ की गई।
यात्रा के दौरान इप्टा टीम के कलाकारों द्वारा विभिन्न गांव में पहुंच कर सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया गया तो वहीं ग्रामीणों के बीच संस्कृति और इतिहास से जुड़ी जानकारी पर एक दूसरे के बीच विचार साझा हुए।
1857 के स्वतंत्रता संग्राम की महानायक झांसी की रानी लक्ष्मीबाई के अनन्य साथी तात्या टोपे की कर्म स्थली ग्राम चुर्खी में उस स्थान पर यह यात्रा आज पहुंची जहां भवन में रानी लक्ष्मीबाई ने अंग्रेजों से लोहा लेते हुए एक रात्रि का विश्राम किया था।
तत्पश्चात ग्राम रनिया, वेदेपुर, सोहरापुर, विनोरा वेद, ककहरा और आखिर में ग्राम ओंता में दिवारी नृत्य सहित अनेकों सांस्कृतिक कार्यक्रम कलाकारों द्वारा देर शाम तक प्रस्तुत किए गए और यहीं रात्रि विश्राम किया गया।
सांस्कृतिक यात्रा में कलाकारों ने एक से बढ़कर एक खूबसूरत प्रभावशाली प्रस्तुतियां कर लोगों को सोचने के लिए विवश कर दिया।
इस मौके पर इप्टा के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रसन्ना जी के अलावा प्रदेश यात्रा समन्वयक शहजाद रिजवी स्थानीय यात्रा संयोजक देवेंद्र शुक्ला राज पप्पन राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य, डॉ. धर्मेंद्र कुमार, डॉ. सुभाष चंद्र, सुमन श्रीवास्तव निशा वर्मा सहित बड़ी संख्या में लोक कलाकार और इप्टा के सदस्य लोग मौजूद रहे।
*वरिष्ठ पत्रकार