राज्यों से: उत्तराखंड
– शरद दीक्षित
हरिद्वार: उत्तराखंड में हरिद्वार पंचायत चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने निर्विरोध जिला पंचायत अध्यक्ष, उपाध्यक्ष एवं सभी 6 ब्लॉक प्रमुख का चुनाव जीतकर एक नया इतिहास रचा है। इस अभूतपूर्व जीत में जितनी सीटें भाजपा ने अब तक हरिद्वार में जीती हैं उतनी राज्य गठन से लेकर अब तक भाजपा की झोली में कभी नहीं आई। राजनीतिक पंडितों का कहना है कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी राज्य में दोबारा सत्ता संभालने के बाद हुई पहली परीक्षा में 100 प्रतिशत अंकों के साथ पास होने में कामयाब रहे हैं और यह बड़ी जीत युवा नेतृत्व का ही करिश्मा है।
पिछले एक-डेढ़ माह में राज्य में तीन ऐसे बड़े प्रकरण हो चुके हैं जिनका सीधे तौर पर धामी सरकार को सामना करना पड़ा है। खासतौर से सत्ता के गलियारों से ही धामी को तमाम अप्रत्यक्ष चुनौतियों से दो चार होना पड़ा।
उत्तराखंड सबोर्डिनेट सर्विस सिलेक्शन कमीशन भर्ती घोटाले में जिस तरह से मुख्यमंत्री धामी ने दोषियों को जेल की सलाखों के पीछे धकेला तो विधानसभा भर्ती प्रकरण में भी उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष से जांच का अनुरोध कर डाला जिसका नतीजा यह हुआ कि बैकडोर से नौकरी पाने वाले आज बाहर हैं और विरोधी चित्त। वहीं, अंकिता हत्याकांड के बाद राज्य में जिस तरह का माहौल बना तो उसमें भी जन भावनाओं के अनूरूप मुख्यमंत्री ने त्वरित एक्शन लेने में कोई देर नहीं लगाई।
इस बीच हरिद्वार में हुआ शराब कांड भी चुनौती के रूप में उभरा।धामी और भाजपा अध्यक्ष महेंद्र भट्ट की विधानसभा चुनाव के बाद यह पहली परीक्षा थी। हरिद्वार के नतीजों ने राज्य में उनकी राजनितिक पकड़ को मजबूत किया है। ।
आपको बता दें कि हरिद्वार जिला पंचायत चुनाव में भाजपा ने कभी भी 4 से ज्यादा जिला पंचायत की सीट नहीं जीती थी लेकिन इस बार हरिद्वार पंचायत चुनाव के नतीजों में भाजपा 14 सीटों पर जीत चुकी है। पूर्व मंत्री यतीश्वरानंद की विधानसभा में भाजपा सबसे ज्यादा 7 सीट जीत रही है। धामी के समर्थकों का कहना है कि भाजपा ने इतना बेहतर प्रदर्शन आज तक जिले में नहीं किया तो इसका सीधा श्रेय मुख्यमंत्री को ही जाता है।