नई दिल्ली: मेघालय में जनजातीय समाज में बड़े बदलाव लाने के लिए डॉ. सुब्रह्मण्य भारती कोड़ाले को इस वर्ष स्वामी विवेकानंद स्मृति कर्मयोगी पुरस्कार से सम्मानित किया गया है। पूर्वोत्तर भारत से जुड़े विषयों पर काम करने वाले सामाजिक संगठन माय होम इंडिया के तत्वावधान में मंगलवार को मालवीय स्मृति भवन में उन्हें “स्वामी विवेकानंद स्मृति कर्मयोगी 2020” पुरस्कार से संगठन के पूर्व मैनेजिंग ट्रस्टी सुनील देवधर, शिक्षाविद डॉ सचिदानंद जोशी, सचिव इन्दिरा गाँधी कला केंद्र के हाथों सम्मानित किया गया।
मेघालय में वर्ष 1983 से शिक्षा के माध्यम से बदलावे लाने वाले , समाज कार्यों से जागृति लाने वाले डॉ. कोड़ाले का जन्म कर्नाटक में हुआ। गृह राज्य कर्नाटक में उन्होंने अपनी पढ़ाई पूरी कर 1983 में उन्हें पहली बार शिलॉन्ग जाने का अवसर मिला जिसके बाद उन्होंने वापस मुड़कर कभी नहीं देखा और मेघालय में सक्रीयता से समाज कार्य करने लगे । लोगों के जीवन में बढ़े बदलाव लाने का प्रयास किया । उन्होंने युवाओं में बढ़ते आत्महत्या के मामलों पर भी कार्य किया और युवाओं को नशे की लत से दूर रखने का प्रयास किया।
माय होम इंडिया संगठन का उद्देश्य कर्मयोगी अवार्ड के माध्यम से पूर्वोत्तर भारत में काम करने वाले समाज सेवियों को शेष भारत से जोड़ने का है और देश में एक आत्मीय भाव को मजबूत करना है। इस अवसर पर मुख्य अतिथि शिक्षाविद डॉ सचिदानंद जोशी सचिव इन्दिरा गाँधी कला केंद्र , विशिष्ठ अतिथी के रुप में मेघालय के युवा मंत्री दासकिता लामरे, और माय होम इंडिया के भूतपूर्व मैनेजिंग ट्रस्टी श्री सुनील देवधर और माय होम इंडिया के मुख्यकारी सदस्य बलदेव राज सचदेवा उपस्थित रहे।
– ग्लोबल बिहारी ब्यूरो